Page Nav

HIDE

Grid

GRID_STYLE

Pages

Classic Header

{fbt_classic_header}

Top Ad

//

Breaking :

latest
//

भारत-सिंगापुर राजनयिक संबंधों की 60वीं वर्षगांठ: राष्ट्रपति ने जारी किया संयुक्त प्रतीक चिह्न

नई दिल्ली। भारत और सिंगापुर के बीच राजनयिक संबंधों की 60 वीं वर्षगांठ के अवसर पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु और सिंगापुर के राष्ट्रपति थर्मन ष...


नई दिल्ली। भारत और सिंगापुर के बीच राजनयिक संबंधों की 60 वीं वर्षगांठ के अवसर पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु और सिंगापुर के राष्ट्रपति थर्मन षण्मुगरत्नम ने गुरुवार को यहां संयुक्त प्रतीक चिह्न जारी किया। विदेश मंत्रालय ने यहां एक बयान में कहा कि वर्ष 2025 भारत और सिंगापुर के बीच राजनयिक संबंधों की स्थापना की 60 वीं वर्षगांठ का वर्ष है। इस विशेष अवसर पर मुर्मू और सिंगापुर के राष्ट्रपति षण्मुगरत्नम ने आज यहां संयुक्त प्रतीक चिह्न का अनावरण किया।

संयुक्त प्रतीक चिह्न में भारतीय और सिंगापुर के राष्ट्रीय झंडे, कमल (भारत का राष्ट्रीय फूल) और आर्किड (सिंगापुर का राष्ट्रीय फूल) और 60 वीं वर्षगांठ के महत्वपूर्ण मील के पत्थर को उजागर करने वाले 60 नंबर शामिल हैं।


कुल मिलाकर, यह प्रतीक चिह्न ‘भारत सिंगापुर राजनयिक संबंधों के 60 साल’ प्रदर्शित करता है। यह चिह्न दोनों देशों के बीच स्थायी दोस्ती, आपसी विश्वास और साझा मूल्यों का प्रतीक है।

भारत-सिंगापुर सहयोग वर्षों से गहरा और विविध हुआ है। हमारे द्विपक्षीय संबंधों की विशेषता राजनीतिक, रक्षा, आर्थिक, सांस्कृतिक, शैक्षिक और लोगों के बीच संपर्क को मजबूत करता है। हम घनिष्ठ और मैत्रीपूर्ण संबंध साझा करते हैं, जिन्होंने उन्नत विनिर्माण, कनेक्टिविटी, डिजिटलीकरण, स्वास्थ्य देखभाल और चिकित्सा, स्थिरता और शिक्षा और कौशल विकास के क्षेत्र में हमारे विस्तृत सहयोग का एक मजबूत आधार प्रदान किया है।

विदेश मंत्रालय के अनुसार सिंगापुर भारत की एक्ट ईस्ट नीति और हिंद-प्रशांत के हमारे दृष्टिकोण का एक प्रमुख स्तंभ है। हमारे राजनयिक संबंधों की 60वीं वर्षगांठ के लिए कई स्मारक कार्यक्रमों की योजना बनाई जा रही है जो भारत और सिंगापुर के द्विपक्षीय साझेदारी से जुड़े महत्व को दर्शाते हैं।

No comments