रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल की अगुवाई में राज्य के स्वास्थ्य क्षेत्र में एक बड़ा कदम उठाया ...
रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल की अगुवाई में राज्य के स्वास्थ्य क्षेत्र में एक बड़ा कदम उठाया गया है। राज्य सरकार ने शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों के सीनियर रेसीडेंट, प्रदर्शक (पीजी), सहायक प्राध्यापक, सह प्राध्यापक और प्राध्यापकों के वेतन में ऐतिहासिक वृद्धि का आदेश जारी किया है, जो 1 सितंबर 2024 से प्रभावी होगा।
चिकित्सा शिक्षा विभाग के द्वारा जारी आदेश के अनुसार गैर अनुसूचित क्षेत्रों के मेडिकल कालेज में पदस्थ प्राध्यापक का वेतन 1 लाख 55 हजार से बढ़ाकर 1 लाख 90 हजार रूपए कर दिया गया है। इसी तरह से सह प्राध्यापक का वेतन 1 लाख 35 हजार से 1 लाख 55 हजार, सहायक प्राध्यापक का वेतन 90 हजार से 1 लाख तथा सीनियर रेसीडेंट व प्रदर्शक (पीजी) का वेतन 65 हजार रूपए से बढ़ाकर 75 हजार रूपए कर दिया गया है।
जारी आदेश के अनुसार अनुसूचित क्षेत्रों के मेडिकल कालेज में पदस्थ प्राध्यापक का वेतन 1 लाख 90 हजार रूपए से बढ़ाकर 2 लाख 25 हजार रूपए कर दिया गया है। इसी तरह से सह प्राध्यापक का वेतन 1 लाख 55 हजार से 1 लाख 85 हजार, सहायक प्राध्यापक का वेतन 90 हजार से 1 लाख 25 हजार तथा सीनियर रेसीडेंट व प्रदर्शक (पीजी) का वेतन 65 हजार रूपए से बढ़ाकर 95 हजार रूपए कर दिया गया है।
स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने इस फैसले को राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता सुधार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा कि वेतन वृद्धि का यह निर्णय राज्य सरकार की स्वास्थ्य के प्रति प्रतिबद्धता और शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में उच्च गुणवत्ता की शिक्षा सुनिश्चित करने के लिए लिया गया है।
अनुसूचित क्षेत्रों में संविदा चिकित्सकों के वेतन में 46% तक की वृद्धि की गई है, जबकि गैर अनुसूचित क्षेत्रों में यह वृद्धि लगभग 23% की है।
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